जी 7 में पीएम मोदी को निमंत्रण, यानी भारत को अब अनदेखा करना मुश्किल
बिक्रम उपाध्याय (वरिष्ठ पत्रकार एवं विदेशी मामलों के जानकार)
‘आप हमसे हेट या लव कर सकते हो, लेकिन हमें इग्नोर नहीं कर सकते.‘ यह बात भारत के साथ पूरी तरह से लागू होती है. विश्व की चौथी सबसे बड़ी अर्थव्यवस्था, तीसरी बड़ी मिलिट्री शक्ति, सबसे अधिक लोग और एक मजबूत लोकतंत्र के रूप में भारत की पहचान से अब कोई इनकार नहीं कर सकता. यही बात कनाडा के नए प्रधानमंत्री मार्क कार्नी ने कही, जब उनसे पूछा गया कि विरोध के बावजूद जी 7 की बैठक में आने के लिए आपने प्रधानमंत्री मोदी को खुद फोन कर निमंत्रित क्यों किया, तो उन्होंने कहा, जी 7 की टेबल पर कई निर्णय होने वाले हैं, इसलिए उस टेबल पर भारत का होना बहुत जरूरी है.
पीएम मोदी के लिए इस शिखर सम्मेलन में भाग लेने का अवसर इसलिए भी महत्वपूर्ण है कि यह जी 7 की 50वीं वर्षगांठ हैं. कनाडा के पास इसकी प्रेसीडेंसी है. 15 से 17 जून, 2025 के दौरान अल्बर्टा के कनानैस्किस में विश्व के सबसे मजबूत देशों के प्रमुख इसमें भाग ले रहे हैं. पीएम मोदी ने खुद ट्वीट कर यह जानकारी दी कि वह कनाडा जी 7 की बैठक में जाएंगे. उनकी वहाँ उपस्थिति और उसके असर पर पूरी दुनिया की नजर होगी. वह वहीं से पाकिस्तान के हुक्मरानों को जवाब देंगे, जो जी 7 के निमंत्रण में देरी से उछल रहे थे, और उसे प्रधानमंत्री मोदी के आइसोलेटेड होने का प्रमाण बता रहे थे. प्रधानमंत्री मोदी की कनाडा यात्रा का एक बड़ा असर भारत-अमेरीका संबंधों पर भी होगा, क्योंकि राष्ट्रपति ट्रम्प भी इस जी 7 की मीटिंग में........
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